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जाने कैसे ग्राहक को क्‍यूआर कोड से लूट रहे हैं साइबर ठग,देखें इससे सावधान रहने का तरीका

Covid काल में ऑनलाइन धोखाधड़ी काफी बढ़ गई है। खासकर QR Code Scam के मामले ज्‍यादा बढ़े हैं। इस साल की शुरुआत में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की बेटी हर्षिता ऑनलाइन घोटाले का शिकार हुई थीं। वह पुराना सोफा सेट ऑनलाइन बेच रही थी। तभी साइबर ठगी का शिकार हुई। ऐसा ही मुंबई के एक व्‍यक्ति के साथ हुआ। वह अपना फर्नीचर ऑनलाइन मार्केटप्लेस पर बेचना चाहता था। उसने विज्ञापन ऑनलाइन दे दिया। एक खरीदार ने उसे फोन किया और उसे QR Code स्कैन करने के लिए कहा। साइबर ठगों ने उसे 5000 रुपये की ठगी कर दी।

QR Code Scam से बचने के कुछ खास उपाय हैं। साइबर विशेषज्ञों की मानें तो इन्‍हें अपनाकर आप साइबर ठगी से बच सकते हैं। आइए जानते हैं इनके बारे में 

रिमोट एक्सेस देना: साइबर विशेषज्ञों की मानें तो कोई अनवेरिफाइड ऐप डाउनलोड करने पर डिवाइस का रिमोट एक्सेस उसे मिल जाता है। इसका इस्तेमाल जालसाज UPI के जरिए पैसे चुराने के लिए कर सकते हैं।

बी फिशिंग घोटाले : कुछ अनवेरिफाइड पेमेंट लिंक SMS से मोबाइल पर भेजे जाते हैं। लिंक पर क्लिक करने पर मोबाइल यूजर अपने फोन में मौजूद UPI पेमेंट ऐप पर पहुंच जाते हैं। यह आपको ऑटो डेबिट के लिए किसी भी ऐप का चयन करने के लिए कहेगा। अनुमति देने के बाद रकम आपके खाते से तुरंत कट जाएगी। इसलिए ऐसे SMS से बचें।

OTP और PIN साझा करना: आरबीआई द्वारा यह बार-बार चेतावनी दी जाती है कि ग्राहकों को अपना UPI PIN या OTP किसी के साथ साझा नहीं करना चाहिए। इसके बावजूद कुछ जालसाज ग्राहकों को अपने फोन पर आए ओटीपी को शेयर करने का झांसा देने में सफल हो जाते हैं। इसे साझा करने के बाद जालसाज नाजायज लेनदेन को प्रमाणित कर सकते हैं और पैसे चुरा सकते हैं।

फेक हैंडल : कुछ स्मार्ट हैकर्स अपने UPI सोशल पेज पर BHIM या SBI जैसे नामों का उपयोग करके यह आभास देते हैं कि यह एक विश्वसनीय UPI प्लेटफॉर्म है। इसलिए, UPI यूजर को इन झांसों से सावधान रहना चाहिए।

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