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यूक्रेनी जवान भारतीय छात्रों के साथ कर रहे बुरा बर्ताव,पोलैंड बार्डर पर पहुंच रहे भूखे-प्यासे छात्रों के साथ मारपीट

राजनयिक स्तर पर यूक्रेन भारत से मदद की अपील कर रहा है, लेकिन उसके जवान भारतीय छात्रों के साथ बुरा बर्ताव कर रहे हैं। माइनस पांच डिग्री सेल्सियस भी नीचे तापमान में सुरक्षित ठिकाने की तलाश में पोलैंड बार्डर पर पहुंच रहे छात्रों को यूक्रेन की सेना प्रताडि़त कर रही है। धक्कामुक्की करने के साथ ही उन्हें बार्डर पार करने से रोका जा रहा है।

मिड डे के मुताबिक पोलैंड सीमा पर एक सप्ताह से दो हजार से अधिक छात्र फंसे हुए हैं। रविवार को बार्डर से तीन किमी पहले चेक पोस्ट पर पहुंचे 250 छात्रों के समूह के साथ यूक्रेन की सेना मारपीट की और हवा में गोलियां चलाईं। लड़कियों पर भी हमला किया, उन्हें बालों से घसीटा गया। इसमें कई छात्र गंभीर रूप से घायल हो गए। छात्रों का आरोप है कि यूक्रेनी गार्ड और सैनिक पाकिस्तानी व कजाकिस्तान के छात्रों को तो जाने दे रहे हैं, लेकिन भारतीय और नाइजीरियाई छात्रों को सीमा पार करने की अनुमति नहीं दे रहे हैं। इतना ही नहीं, वे भारतीय छात्रों से सीमा पार करने के लिए लगभग साढ़े सात हजार रुपये (3,006.39 यूक्रेनी मुद्रा) मांग रहे हैं। दिल्ली के मोहम्मद दानिश अल अंसारी का कहना था कि यूक्रेन के लोगों में कोई मानवता नहीं है। उन्होंने हमारी मदद नहीं की। वे खाली कारों और बसों में जा रहे हैं, लेकिन हमें लिफ्ट नहीं दे रहे।

लवीव विश्वविद्यालय में मेडिकल की पढ़ाई कर रहे प्रिंस ने फोन पर बताया कि 25 फरवरी की रात को वे अपने दोस्तों के साथ पोलैंड बार्डर पर पहुंचे थे। बार्डर से पहले ही यूक्रेनी सेना ने बैरिके¨डग कर दी। उन्होंने भारतीय छात्रों को पोलैंड जाने की इजाजत नहीं दी और कारण पूछने पर उनके साथ मारपीट शुरू कर दी।

माल में भारतीय छात्रों को नहीं मिल रहा सामान

प्रिंस ने बताया किमाल में भारतीय छात्रों को सामान देने से मना किया जा रहा है। अगर ज्यादा दिन रहना पड़ा तो दिक्कत बढ़ जाएगी। विश्वविद्यालय में अभी 700 भारतीय छात्र फंसे हुए हैं।

यूक्रेन के अधिकारी बोले-शोर मचाया तो गोली मार देंगे

पोलैंड सीमा पर लवीव में बैठे अमृतसर के जगजीत सिंह, जालंधर के जुगराज सिंह व कमलजीत सिंह, बटाला के हरजिंदर सिंह व पटियाला के गुरफतेह सिंह यूक्रेन के अधिकारियों के दु‌र्व्यवहार से चिंतित हैं। कीव यूनिवर्सिटी में एमबीबीएस कर रहे इन छात्रों ने दैनिक जागरण को फोन पर बताया कि यूक्रेन के अधिकारी गोली मारने की धमकी दे रहे हैं। वे कह रहे हैं कि हमारे देश में सबसे ज्यादा भारतीय मेडिकल की पढ़ाई करते हैं। फिर भी भारत ने रूस का साथ दिया है। आप शराफत से पीछे चले जाओ, यदि शोर मचाया तो गोली मार देंगे।’ जगजीत सिंह सन्नी ने बताया कि सोमवार सुबह साढ़े छह बजे से न तो चाय नसीब हुई और न ही पानी। यूक्रेन के सुरक्षा अधिकारी उनसे कहते हैं कि अपने प्रधानमंत्री मोदी को बुलाओ, अब वही तुम्हें यहां से भारत ले जा सकते हैं।

रोमानिया पहुंचे तीन सौ भारतीय

बठिंडा के तलवंडी साबो की पलकप्रीत कौर ने बताया कि उसके भाई रिपनदीप समेत तीन सौ भारतीय छात्र सुरक्षित रोमानिया पहुंच गए हैं। एक शेल्टर हाउस में ठहराया गया है। खाने-पीने का प्रबंध हो चुका है। अब बस भारत की फ्लाइट का इंतजार है।

एजेंट को दिए दस लाख पर फिर भी नहीं निकाला

लखनऊ की शिखा यादव का एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें वह एक एजेंट से बात करते हुए कह रही हैं कि भारत सुरक्षित पहुंचाने के नाम पर आठ से दस लाख फूंक चुकी हूं। बैठे-बैठे तीन हजार डालर भी आपको दे दिए। अब आप सुबह-शाम की रट लगा रहे हैं। आपने ही गारंटी दी थी कि सुरक्षित निकाला जाएगा। अब आप बहाना बना रहे हैं। मेरी जान जाने वाली है, आप बोलते हैं कि मैं गुस्सा न करूं। कीव में हमारी जान खतरे में है। हर तरफ गोलियां बरस रही हैं। लोग मर रहे हैं, मुझे भी मौत आ जाएगी। मेरे मरने के बाद आप झंडा लेकर आएंगे क्या? बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ अब कहां है? दो लोग यूनिवर्सिटी का गेट तोड़ गए। यदि ज्यादा लोग आएंगे तो हमें तोड़ जाएंगे।

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