National

उत्तर रेलवे को मिले 35% अधिक पैसे, दिल्ली-मुंबई के बीच 160 kmph की रफ्तार से दौड़ेगी ट्रेन

केंद्रीय बजट में इस बार उत्तर रेलवे को पिछले वर्ष की तुलना में 35 फीसद ज्यादा धन दिया गया है। सबसे ज्यादा राशि रेलवे के आधारभूत ढांचे को मजबूत करने पर खर्च की जाएगी। नई रेल लाइन बिछाने के साथ ही ज्यादा व्यस्त मार्गों पर अतिरिक्त लाइन की व्यवस्था की जाएगी। इस काम को कितना महत्व दिया गया है इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि नई लाइन बिछाने और दोहरीकरण के काम के लिए पिछले वर्ष से 47 फीसद ज्यादा राशि खर्च करने का फैसला किया गया है। इसके साथ ही खस्ताहाल पटरी बदलने का काम भी बड़े स्तर पर चल रहा है। इस काम में और तेजी लाई जाएगी। सिग्नल प्रणाली के आधुनिकीकरण पर भी इस वर्ष विशेष ध्यान दिया जाएगा। इन कदमों से जहां सुरक्षित रेल परिचालन सुनिश्चित हो सकेगा वहीं, ट्रेनों की रफ्तार बढ़ाने में भी मदद मिलेगी।

दिल्ली-मुंबई और दिल्ली-हावड़ा के बीच 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से ट्रेन चलाने की योजना है। इसी तरह से अन्य प्रमुख रेल मार्गों की रफ्तार क्षमता किलोमीटर करने की तैयारी है। रेलवे स्टेशनों पर यात्रियों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए भी जरूरी कदम उठाए जाएंगे।

रेलवे क्रॉसिंग पर होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए सीमित ऊंचाई वाले सबवे के साथ ही रोड ओवर ब्रिज (आरओबी) और रोड अंडर ब्रिज (आरयूबी) बनाने का काम चल रहा है। दिल्ली को जोड़ने वाले अलग-अलग रेल मार्गों पर असुरक्षित रेलवे क्रा¨सग खत्म किए जा रहे हैं। इसके लिए भी बजट में पर्याप्त धन की व्यवस्था की गई है।

कोरोना संक्रमण के दौर में रेलवे के कामकाज को आनलाइन करने पर जोर है। इन दिनों खिड़की से टिकट की बिक्री बंद है। सिर्फ करंट आरक्षण खिड़की से ही यात्री टिकट की सुविधा है। अन्य सभी यात्रियों को आनलाइन टिकट बुक करना पड़ रहा है। इस वर्ष कंप्यूटरीकरण के काम में तेजी लाई जाएगी।

उत्तर रेलवे को इस बार बजट में 15818.49 करोड़ रुपये मिले हैं। यह पिछले वर्ष से 4123.28 करोड़ रुपये ज्यादा है। वर्ष 2020-21 में उत्तर रेलवे का बजट 11695.21 करोड़ रुपये का था।

दिल्ली में रेल के बुनियादी ढांचे को मजबूत करने और यात्री सुविधाएं बढ़ाने के लिए 310 करोड़ रुपये मिले हैं, जबकि वर्ष 2009-14 के बीच औसत प्रति वर्ष 96 करोड़ रुपये मिलते थे। इस तरह से पिछले सात वर्षों में दिल्ली में रेल सुविधा बेहतर करने के लिए 223 फीसद ज्यादा धन खर्च किया जा रहा है।

कार्य- आवंटित राशि (करोड़ रुपये)

  1. नई रेल लाइन-9860.95
  2. दोहरीकरण-1942.60
  3. रेल लाइन नवीनीकरण-1420
  4. यार्ड के आधुनिकीकरण व अन्य काम-573.68
  5. कंप्यूटरीकरण-399.93
  6. कोच के रखरखाव-117.68
  7. रेलवे क्रॉसिंग पर सीमित ऊंचाई वाले 87.63
  8. आरओबी व आरयूबी निर्माण-317.54
  9. रेलवे पुल से संबंधित कार्य-50
  10. सिग्नल एवं दूरसंचार से संबंधित कार्य-352.95
  11. बिजली से संबंधित कार्य-55.50
  12. रेलवे कारखाने व उत्पादन इकाइयां-150.22
  13. मशीनरी-26.27
  14. कर्मचारी कल्याण-56.96
  15. यात्री सुविधाएं-291.17
  16. अन्य विशेष कार्य-110.81
  17. प्रशिक्षण व मानव संसाधन-4.60

Related Articles

Back to top button
Event Services