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स्कूल से डरी बच्ची बोली – “अंकल शैतानी करेंगे”

लखनऊ। किड्जी प्री स्कूल की चार साल की छात्रा से स्कूल वैन में दुष्कर्म की घटना ने सभी को झकझोर दिया है। वारदात के बाद से मासूम अब तक सहमी हुई है। वह घर से बाहर भी नहीं निकल रही मां ने बताया कि लोगों को देखकर बेटी दुबक जा रही है। वह बस एक ही रट लगाए है कि अंकल शैतानी करेंगे।
संवाद न्यूज एजेंसी ने सोमवार को पीड़ित छात्रा की मां से बात की। उन्होंने बताया कि वह लगातार बिटिया की काउंसलिंग कर रही हैं, लेकिन मासूम सदमे से उबर नहीं पाई है।
वह मेरे अलावा किसी दूसरे के पास नहीं जा रही। मां ने बताया कि वह घर पर तीन छोटी-छोटी बेटियों के साथ अकेले रहती हैं। उन्हें डर है कहीं स्कूल प्रबंधक उनके साथ कुछ गलत न करा दें। उन्होंने स्कूल प्रबंधन से बिटिया की फीस वापस करने की मांग की है। उनका कहना है कि अगर उन्हें न्याय न मिला तो वह स्कूल के बाहर धरना देंगी।
महिला की नौ माह की दो जुड़वा बेटियां भी हैं। बेटी के साथ हुई घटना से वह टूट गई हैं। वह आपबीती बयां करते-करते रो पड़ीं बताया कि जब वह शिकायत करने पहुंची थीं तो प्रबंधक ने उन्हें लालच भी दिया था। कहा था कि अगर वह पुलिस से शिकायत नहीं करती हैं तो वह बच्ची का स्कूल फीस माफ कर देंगे |


■ प्रबंधक ने कहा था…. शिकायत नहीं करोगी तो माफ कर देंगे फीस
■ दुष्कर्म पीड़िता की मां ने कहा…न्याय नहीं मिला तो स्कूल के बाहर धरना दूंगी

बच्ची से दुष्कर्म मामले की विवेचना चल रही है। तथ्यों के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। पुलिस मामले को पूरी गंभीरता से लेकर चल रही है।
पीड़िता की मां को एक साल में दो बड़े हादसे ने पूरी तरह से झकझोर कर रख दिया है। वह बताती हैं कि एक साल पहले पति की बीमारी से मौत हो गई थी। वह अभी इस सदमे से उबर भी नहीं पाई थी कि दूसरी घटना हो गई। वहीं, बच्च अभी भी अपने पिता का इंतजार कर रही है। वह अक्सर मां से पूछती है कि पापा अस्पताल से कब आएंगे। अन्य बेटियों के लिए करूंगी प्रदर्शन पीड़िता की मां का कहना है कि गुनाह को छिपाने के लिए दबाव बनाने वाला स्कूल प्रबंधक अभी भी गिरफ्त से दूर है। अगर प्रबंधक को गिरफ्तार नहीं किया गया तो वह प्रदर्शन करेंगी बेटी के साथ जो हुआ उसे तो मैं बदल नहीं सकती, लेकिन किसी और के साथ ऐसा नहीं होने दूंगी। अभिभावकों में डर, स्कूल में सन्नाटा न्यूज एजेंसी लगातार आरोपी प्रबंधक से संपर्क के प्रयास में हैं उनका फोन लगातार बंद है और घर स्कूल से दूर हैं उनसे संपर्क नहीं हो पा रहा है। यदि प्रबंधक खुद अपना पक्ष देते हैं तो उसे प्रकाशित किया जाएगा।
डीआईओएस व बीएसए के अनुसार उनके क्षेत्राधिकार में नहीं है स्कूल प्रबंधन मामले को दबाते रहे। पुलिस ने कार्रवाई के नाम पर आरोपी वैन चालक को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया, लेकिन शिक्षा विभाग नींद से नहीं जागा हैरानी की बात ये है कि स्कूल के खिलाफ कार्रवाई के नाम पर जिला विद्यालय निरीक्षक और बेसिक शिक्षा अधिकारी एक दूसरे पर टालमटोल कर रहे हैं। किसी ने भी स्कूल जाना भी मुनासिब नहीं समझा।
इस मामले में शनिवार को डीआईओएस राकेश कुमार ने कहा था कि वह सोमवार को जांच टीम स्कूल में भेजेंगे। सोमवार को जब उनसे बात की गई तो पहले उन्होंने जांच की बात तो कही, लेकिन बाद में यह जिम्मेदारी बेसिक शिक्षा अधिकारी की बताकर पल्ला झाड़ लिया। उन्होंने कहा कि प्री प्राइमरी स्कूल बेसिक शिक्षा विभाग के आधीन आते हैं। ऐसे में स्कूल पर कार्रवाई और जांच का अधिकार बीएसए को है।
उधर, बीएसए रामप्रवेश से जब इस बारे में पूछा गया तो वह भी सीमा विवाद में घिरे नजर आए। कार्रवाई के बजाय बीएसए ने कहा कि बेसिक शिक्षा विभाग केवल कक्षा एक से पांच तक के विद्यालयों की मान्यता और संचालन का काम देखता है। प्री स्कूल हमारे परिक्षेत्र में नहीं आते।
KIDZEET बंद पड़ा इंदिरा नगर सेक्टर 10 स्थित किडजी स्कूल
अफसरों के रवैये से उपजे पांच गंभीर सवाल स्कूल वैन में दुष्कर्म जैसे संवेदनशील मामले में कार्रवाई के नाम पर दोनों अधिकारियों की लीपापोती ने गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं, जिनके जवाब शिक्षा विभाग के अफसरों के पास नहीं है।
■ सवाल 1 क्या प्री स्कूल में पढ़ाई करने वाले बच्चों की सुरक्षा की जवाबदेही शिक्षा विभाग की नहीं है?
■ सवाल 2 क्या किसी निजी स्कूल प्रबंधन की मनमानी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होगी?
■ सवाल 3 प्री स्कूल यदि बीएसए और डीआईओएस के दायरे में नहीं आता तो फिर उसका संचालन कैसे हो रहा था?
■ सवाल 4 क्या कोई प्री स्कूल या निजी स्कूल जब चाहे छुट्टी कर ताला लगा सकते हैं?
■सवाल 5 प्री-स्कूल और किंडरगार्टन जैसे विद्यालय क्या किसी व्यवस्था के नियंत्रण में नहीं?

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