मिलियन फार्मर्स स्कूल कार्यक्रम में प्रदेशभर के किसानों से वर्चुअल रूबरू हुए कृषि मंत्री
कृषि क्षेत्र में नई तकनीकों को अपनाकर प्रदेश के किसान अपनी आय को बढ़ाने तथा प्रदेश की अर्थव्यवस्था को एक ट्रिलियन तक पहुंचाने मंे महत्वपूर्ण योगदान दे सकते हैं। इस क्षेत्र में कृषि विभाग द्वारा चलाई जा रही किसान पाठशाला किसानों को जागरूक करने तथा सरकारी योजनाओं मंे इनकी सहभागिता बढ़ाने के लिए प्रभावी सिद्ध हो रही है। किसान पाठशाला में दूरस्थ क्षेत्रों के किसानों से भी सीधे संवाद स्थापित करने का अवसर प्रदान कर रही है। यह बात सोमवार को प्रदेश के कृषि मंत्री श्री सूर्य प्रताप शाही ने किसान पाठशाला के वर्चुअल कार्यक्रम के दौरान कही।
कृषि मंत्री श्री शाही मिलियन फार्मर्स स्कूल कार्यक्रम का उद्घाटन एनआईसी केन्द्र योजना भवन लखनऊ में कर रहे थे। उन्होेंने कहा कि किसान पराली का उपयोग खेती की उर्वरता बढ़ाने के लिए करें, जलाने में नहीं। इसका उपयोग बायो फ्यूल के रूप में भी किया जा रहा है, इसका लाभ भी किसान ले सकते हैं। प्रदेश सरकार द्वारा किसानों की आय बढ़ाने के लिए निरन्तर प्रयास किये जा रहे हैं। इसके लिए श्री अन्न की खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। साथ ही हाइब्रिड बीजों पर 50 प्रतिशत अनुदान दिया जा रहा है। ब्लाक स्तर पर स्टॉल लगाकर छूट वाले कृषि यंत्र किसानों को उपलब्ध कराये जा रहे हैं।
अपर मुख्य सचिव कृषि डा0 देवेश चतुर्वेदी द्वारा कहा गया कि सरकार की प्रमुख योजनाओं को कृषकों तक पहुंचाने हेतु किसान पाठशाला एक प्रभावी प्लेटफार्म है। कृषि वैज्ञानिक डा0 वाई0पी0 सिंह द्वारा फसल अवशेष से नाइट्रोजन बढ़ाने, डा0 गजानन एस द्वारा श्री अन्न की खेती का विस्तार करने पर जानकारी दी गयी। इस कार्यक्रम के दौरान प्रदेशभर के 50 हजार स्थानों से प्र्रगतिशील किसान तथा अन्य किसान लाइव जुड़े हुए थे।
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