Uttar Pradesh

पिछली सरकार राजनीतिक लाभ देखकर छात्र-छात्राओं को प्रदान करती थीं छात्रवृति

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को प्रदेश के मेधावी छात्र-छात्राओं को छात्रवृति ट्रांसफर की। योगी आदित्यनाथ अपने सरकारी आवास से 12.17 लाख छात्र-छात्राओं को 458.66 करोड़ रुपए की धनराशि छात्रवृत्ति के रूप में आनलाइन ट्रांसफर करने के साथ ही कुछ लाभार्थियों से संवाद भी किया।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि प्रदेश के प्रतिभाशाली छात्र-छात्राओं को अपना राजनीतिक लाभ देखकर छात्रवृति प्रदान करती थीं। पिछली सरकारें भेदभाव करती थी। 2016-17 में अनुसूचित जाति-जनजाति के बच्चों की छात्रवृत्ति ही रोक दी थी। उन्होंने कहा कि पछले चार वर्ष में हमारी सरकार ने पहले जितने बच्चों को छात्रवृत्ति मिलती थी उसमें 40 लाख से ज्यादा और बच्चों को जोडऩे का कार्य किया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हमने गुरुवार को 12.17 लाख मेधावी छात्र छात्राओं को 458.66 करोड रुपये की छात्रवृत्ति खाते में भेजी। उन्होंने कहा कि यह सर्वविदित है कि हमारी सरकार की की सर्वोच्च प्राथमिकता अंतिम पायदान पर बैठे हुए व्यक्ति तक शासन की योजनाओं को पहुंचाने की है। इसके लिए सरकार अपनी ओर से प्रयास करती है, लेकिन इसमें जागरूकता महत्वपूर्ण होती है। यह कार्यक्रम उसी जागरूकता का एक हिस्सा है। विगत साढ़े चार वर्षों में हमारी सरकार ने पूर्ववर्ती सरकार में जितने छात्रों को स्कॉलरशिप मिलती थी, उससे 40 लाख से अधिक बच्चों को इस योजना के साथ जोडऩे का कार्य किया है। मुझे प्रसन्नता है कि 12,17,631 छात्रों को 458.66 करोड़ रुपए की धनराशि आज छात्रवृत्ति/ शुल्क प्रतिपूर्ति के रूप में उपलब्ध कराई जा रही है। छात्रवृत्ति से छात्रों को अपनी पढ़ाई को आगे बढ़ाने में बहुत मदद मिलती है। यह शासन के लिए प्रसन्नता का विषय है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि बीती दो अक्टूबर को हमारी सरकार ने करीब लगभग 57 लाख छात्रों को छात्रवृत्ति की किस्त भेजी थी, लेकिन कोरोना महामारी के कारण बड़ी संख्या में स्कूल/कॉलेज प्रारम्भ नहीं हो पाए थे। देर से छात्रों के प्रवेश के कारण छात्रवृत्ति को अलग-अलग किस्तों में भेजा जा रहा है। मैं प्रदेश के सभी युवा साथियों को जिन्हें आज स्कॉलरशिप उपलब्ध कराई जा रही है, उन्हें हृदय से बधाई व शुभकामनाएं देता हूं। उन्होंने कहा कि बचे हुए छात्रों को दिसंबर अंत में छात्रवृत्ति मिलेगी।

सीएम योगी आदित्यनाथ ने छात्रों से संवाद करने के दौरान कहा कि बीते डेढ़ वर्ष के दौरान कोरोना के कारण प्रदेश में बड़ी संख्या में स्कूल-कॉलेज, पॉलिटेक्निक शुरू नहीं हो पाए और लेट एडमिशन की वजह से संख्या पूरी नहीं हो पाई जिसके कारण छात्रवृत्ति अलग-अलग भेजनी पड़ी। छात्रवृति लेने वाले छात्र-छात्राओं को पढ़ाई में मदद मिलेगी। इन सभी को अब लाभ मिला है, यह शासन के लिए प्रसन्नता की बात है। इसकी वजह छात्र-छात्राएं आगे अपनी पढ़ाई पूरी कर पाएंगे।

लाभार्थियों से संवाद के क्रम में उन्होंने फिरोजाबाद में राजकीय पालीटेक्निक कालेज के छात्र गाजीपुर के प्रणव और महाराजगंज के अतुल सिंह से पूछा कि छात्रवृत्ति की धनराशि का क्या उपयोग करते हैं। छात्रों ने जवाब दिया कि इस धनराशि से कॉलेज की फीस जमा करते हैं, पाठ्य सामग्री खरीदते हैं।

प्रदेश सरकार हर वर्ष करीब 56 लाख से अधिक गरीब परिवारों के छात्र-छात्राओं को दशमोत्तर छात्रवृत्ति, शुल्क प्रतिपूर्ति एवं पूर्व दशम छात्रवृत्ति योजना का लाभ प्रदान करती है। हर साल छात्रवृत्ति वितरण कार्यक्रम दो अक्टूबर और 26 जनवरी को होता है, चूंकि अगले वर्ष विधानसभा चुनाव होने हैं इसलिए सरकार की कोशिश है कि दिसंबर तक सभी छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति मिल जाए। सरकार इस साल दो अक्टूबर को पहले चरण की छात्रवृत्ति वितरित कर चुकी है। इसमें करीब डेढ़ लाख छात्रों को छात्रवृत्ति दी गई थी। 

Related Articles

Back to top button